Tuesday, 26 November 2013

Amritsar: Kareena Kapoor visits Golden Temple

Saif Ali Khan
रमेश शुक्ला 'सफर', अमृतसर। रील मोहब्बत और रीयल मोहब्बत में फर्क है। प्यार जात-पात के बंधन नहीं देखता। मुझे खुशी है कि मैंने अपना प्यार ढूंढने में कोई गलती नहीं की। खुदा ने सैफ मुझे दिया। सैफ ही मेरा 'अली' है। मेरा मौला है और मेरा अली हमेशा 'सेफ' रहे, यही अरदास मैंने श्री हरिमंदिर साहिब में की है। यह बात बॉलीवुड अभिनेत्री करीना कपूर खान ने गुरु नगरी अमृतसर के दौरे के दौरान विशेष मुलाकात में कही।

लिम्का की ब्रांड एंबेसडर करीना कपूर ने कंपनी के एमडी गुरदीप सिंह कंधारी से लेकर अन्य पदाधिकारियों व कर्मचारियों के चटपटे प्रश्नों का जवाब उसी अंदाज में दिया। करीना बोली, मैं तो पंजाबी व सिंधी फिफ्टी-फिफ्टी हूं। और फिफ्टी का मजा भी अलग है तथा स्वाद भी। मां सिंधी, पिता पंजाबी और अब मैं मुस्लिम। कोई भेदभाव नहीं है जात-पात में। दादा राज कपूर पर 1966 में फिल्म 'तीसरी कसम' में गीत फिल्माया गया था कि 'छलिया मेरा नाम, छलिया मेरा नाम, हिंदू मुस्लिम सिख ईसाई सबको मेरा सलाम'। इस फिल्म के बासु भट्टाचार्जी डायरेक्टर थे, जोकि बंगाली थे। ऐसे में शंकर-जयकिशन की जोड़ी के साथ-साथ मुकेश का गाया गीत मुझे बहुत ही पसंद है। इतना पसंद कि मेरी रीयल लाइफ में भी लागू होता है।

मैं अब मुस्लिम हूं। करीना कपूर से करीना कपूर खान बन गई, बहुत खुश हूं। सैफ ही मेरे अली हैं, मेरे मौला हैं। धर्म हिंदू हो या मुस्लिम, दोनों में लिखा है कि पति के कदमों में जन्नत है। मुझे खुशी है कि मेरी जिंदगी को सैफ मिला और मेरी जिंदगी सैफ के साथ 'सेव' है। मुझे पंजाबी पहरावा एवं पंजाबी व्यंजन बहुत अच्छे लगते हैं। मेरी बड़ी बहन करिश्मा कपूर मेरे से अधिक खूबसूरत और टैलेंटेड है। इस दौरान दादा राज कपूर के गाने सुनकर बेबो की आंखें भर आईं। कंपनी के जीएम विजय शर्मा के सवाल का जवाब देते हुए करीना ने कहा कि मैं बॉलीवुड के पितामह राज कपूर की पौत्री हूं यह मेरे लिए गर्व की बात है।

करीना ने हंसते हुए कहा कि बॉलीवुड में आज भी कपूर व खान का ही कब्जा रहा है। जीएम विजय शर्मा ने जब पूछा कि बीती रात आप 'कॉमेडी नाइट्स विद कपिल' के सेट पर थीं और आज कपिल शर्मा के घर अमृतसर में। यह सुन कर करीना हंसी और बोली कि अमृतसर ही नहीं, बल्कि पंजाब ऐसी खान है जहां कट्रीना, ऐश्वर्या तमाम करीना कपूर खान हैं। बस जरूरत है ऐसी प्रतिभाओं को तराशने की।

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